कोणासन की विधि, लाभ व सावधानियां (Konasana steps, benefits in Hindi)

मेरे इस blog में कोणासन क्या है (What is Konasana)?, करने की विधि (Konasana steps) और कोणासन के लाभ (Konasana benefits) के बारे में बताया गया है|

हाथों व पैरों की मांसपेशियों को मजबूत करने वाला, शरीर में स्फूर्ति लेन वाला, कंधे व गर्दन के दर्द में राहत दिलाने वाला कोणासन बहुत महत्वपूर्ण आसन है|

योगासन शारीरिक, मानसिक तथा भावनात्मक विकास पर अपना प्रभाव डालते हैं| योगाभ्यास तनाव, थकान, चिंता तथा अवसाद को कम करने में सहायक है| योग के आसनों का नियमित अभ्यास करने से शरीर की सभी मांसपेशियां प्रभावित होती हैं जैसे पैर, पेट, रीढ़, भुजाएं, कंधे आदि की मांसपेशियां|

कोणासन क्या है (what is konasana/angle pose)?

कोणासन करते समय जब हम पूर्णता की स्थिति में आते हैं तो शरीर की आकृति एक कोण के समान दिखाई देती है, इसलिए इसे कोणासन कहते हैं| बैठकर करने वाले आसनों में कोणासन बहुत ही महत्वपूर्ण आसन है| इस आसन का नियमित अभ्यास करने से पैर, रीढ़, कलाइयाँ, भुजाएं व कंधे सभी मजबूत बनते हैं तथा पेट की समस्याएं ठीक होती हैं|

कोणासन की विधि (konasana steps in Hindi)

कोणासन करने की विधि step by step इस प्रकार है:

Step 1: कोणासन के लिए आसन पर सीधा बैठें|

Step 2: एड़ी व पंजा मिलाएं|

Step 3: दोनों हाथ कमर के पीछे आसन पर इस प्रकार रखें कि हथेलियाँ नितम्ब (hips) की ओर हों तथा उंगलियां विपरीत दिशा में|

Step 4: अब श्वास भरते हुए तथा हथेलियों व एडियों पर भार डालते हुए शरीर के बीच के भाग से ऊपर उठें|

Step 5: इतना ऊपर उठें कि पंजे आसन पर लगें|

Step 6: गर्दन सीधी रखें, सिर वाला भाग पीछे की ओर झुका हो व घुटनों को मुड़ने न दें|

Step 7: पैर के अंगूठे से सिर तक पूरा शरीर एक सीध में हो|

Step 8: ये पूर्णता की स्थिति है अब सामान्य श्वास लेते रहें|

Step 9: इस स्थिति में रुकने की अवधि को धीरे-धीरे 1-3 मिनट तक बढ़ाएं|

Step 10: अब श्वास छोड़ते हुए धीरे-धीरे वापिस आयें व विश्राम करें|

कोणासन (konasana) करने की सही विधि व इसकी पूरी जानकारी आप मेरे इस youtube link पर भी देख सकते हैं|

कोणासन के फायदे (Konasana benefits in Hindi)

कोणासन के फायदे

सर्वाइकल की समस्या ठीक होती है: कोणासन का नियमित अभ्यास करने से कंधों की दर्द में आराम मिलता है व धीरे धीरे सर्वाइकल (cervical) की समस्या ठीक होती है

पिण्डलियों की समस्या में आराम मिलता है: कोणासन करने से जब हम पंजों के बल आते हैं तो टांगों की मांसपेशियां खिंचाव में आती हैं जिससे पिण्डलियों के दोष दूर होते हैं|

भुजाएं मजबूत बनती हैं: जब हम हथेलियों के सहारे अपने शरीर को ऊपर उठाते हैं तो इससे हाथ व कलाईयाँ, कंधें सभी प्रभाव में आने से बलिष्ठ बनते हैं|

फेफड़ों में श्वास लेने की क्षमता बढ़ती है: कोणासन करते समय जब भुजाओं के बल ऊपर उठते हैं तो सीने का भाग फैलता है जिससे फेफड़े फ़ैलते हैं व उनमें श्वास लेने की क्षमता अधिक होती है|

रीढ़ प्रभावित: कोणासन का नियमित अभ्यास करने से रीढ़ के दोष तो ठीक होते ही हैं साथ ही स्लिप-डिस्क(slip-disc) के दोष भी दूर होते हैं|

पेट की बीमारियाँ दूर होती हैं: कोणासन का अभ्यास पेट के रोगी के लिए लाभकारी है| पाचन सम्बन्धी समस्याओं को दूर करने के लिए ये आसन लाभदायक है|

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कोणासन किन-किन के लिए वर्जित है (For whom konasana prohibited)?

कोणासन किन-किन लोगों को नहीं करना चाहिए|

  • अगर कंधों में pain अधिक हो तो उस समय कोणासन नहीं करना चाहिए|
  • जिनके पेट में किसी प्रकार की कोई surgery हुई हो वे इस आसन को न करें|
  • जिस की कलाई में दर्द हो वे इस आसन को न करें|

Read: Gomukhasana

FAQ’s: कोणासन से सम्बंधित सामान्य प्रश्न (General questions related to Konasana)|

कोणासन कितनी बार करना चाहिए (How many times should we do Konasana)?

कोणासन बैठ कर किए जाने वाले आसनों में से एक बहुत महत्वपूर्ण आसन है| इसका अभ्यास करते समय हम तलवों व हथेलियों (Palm) के सहारे पूरे शरीर का भार उठाते हैं| कोणासन के इस प्रकार के 5 से 10 चक्र अपनी क्षमता के अनुसार किये जा सकता हैं|

कोणासन कितनी देर करना चाहिए? (How long should Konasana be done)?

कितनी देर तक कोणासन करना चहिये का अर्थ है कि पूर्णता की स्थिति में कितने समय तक रुकना चहिए| कोणासन करते समय हम तलवों व हथेलियों के सहारे ऊपर उठते हैं| इस प्रकार उठने का अभ्यास हो जाने पर पूर्णता की स्थिति में रुकने का समय 1 से 3 मिनट तक करना चहिये|

कोणासन के मुख्य लाभ क्या हैं? (What are the main benefits of Konasana)?

कोणासन बहुत लाभदायक आसन है| कोणासन करने से हाथ और पैर की मांसपेशियां खिंचाव में आने से मजबूत बनती हैं| इस आसन के करने से पेट को लाभ मिलता है| इस आसन का नियमित अभ्यास करने से कंधे व गर्दन प्रभावित होकर मजबूत बनते हैं| पिंडलियों में खिंचाव आने से इनके दोष दूर होते हैं|

मेरे इस blog में कोणासन क्या है (What is Konasana)?, करने की विधि (Konasana steps) और कोणासन के लाभ (Konasana benefits) के बारे में जाना|

कोणासन से सम्बंधित कोई भी जानकारी चाहिए या कोई सुझाव आपके पास हो तो comment box में लिख सकते हैं|

Babita Gupta

M.A. (Psychology), B.Ed., M.A., M. Phil. (Education). मैंने शिक्षा के क्षेत्र में Assistant professor व सरकारी नशा मुक्ति केंद्र में Counsellor के रूप कार्य किया है। मैं अपने ज्ञान और अनुभव द्वारा blog के माध्यम से लोगों के जीवन को तनाव-मुक्त व खुशहाल बनाना चाहती हूँ।

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